दीपक जलाने का महत्व।
5 April 9 PM 9 Minutes: कोरोना वायरस से जंग में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 5 अप्रैल दिन रविवार को ही दीपदान के लिए क्यों चुना? यह अंक-ज्योतिष के आधार पर देखा जाय तो अति महत्वपूर्ण एवं विचारणीय विषय है। अंक-विज्ञान के अनुसार 5 अंक का स्वामी बुध है। बुध गला, फेफड़ा और मुख का कारक ग्रह होता है। वर्तमान में विश्वव्यापी महामारी कोरोना मनुष्य के मुख, फेफड़े और गले को ही अपना निशाना बनाए हुए है। बुध ग्रहों का राजकुमार तथा वर्तमान सम्वत् 2077 का अधिपति भी है। अतः 5 अप्रैल इस दृष्टि से भी अनुकूल है।रविवार सूर्य का दिन होता है। सूर्य नवग्रह का अधिपति है। समस्त ग्रह सौर ऊर्जा से ही प्रभावित हैं। सूर्य दीपक या प्रकाश का प्रतीक है, अतः 5 अप्रैल को रात्रि 9 बजे से 9 मिनट तक यमघण्ट काल को करोड़ों प्रज्वलित दीपक सूर्य को बल प्रदान करेंगे।
नौ का अंक मंगल ग्रह का प्रतीक है। मंगल सौरमंडल का सेनापति होने के कारण महामारी अन्धकार को नष्ट करने में सूर्य का अपूर्व सहयोग करेगा। रात्रि या अन्धकार शनि का प्रतीक है और शनि सूर्य से अर्थात् अन्धकार प्रकाश से दूर होता है। अतः रविवार 5 अप्रैल को जो पूर्णिमा के नज़दीक की तिथि है, उस दिन चन्द्र की मज़बूती के लिए सभी प्रकाश बन्द कर दीपदान करना चन्द्रमा को अमृत-वृष्टि के लिए बाध्य करेगा।
कोरोना वायरस से खतरे का सामना कर रहे देश को पीएम मोदी ने शुक्रवार को एक वीडियो के माध्यम से संबोधित किया। जिसमें उन्होंने देश में जनता कर्फ्यू के बारे भी बात की। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि कोरोना से देश एकजुट होकर लड़ सकता है, यह दिख रहा है। आगे पीएम मोदी ने कहा कि लॉकडाउन को लेकर लोग सोचते होंगे कि वे अकेले क्या कर सकते हैं, लेकिन हम अपने घरों में भी अकेले नहीं हैं, बल्कि 130 करोड़ देशवासियों के साथ हर व्यक्ति का संबंध है। इसके साथ ही देश को एक बार कोरोना वायरस के खिलाफ एकजुट होने का कहा।
पीएम मोदी ने अपने संदेश में कहा कि 5 अप्रैल को हमें 130 करोड़ देशवासियों की महाशक्ति का जागरण करना है। रविवार 5 अप्रैल को रात 9 बजे मैं आप सबके 9 मिनट चाहता हूं, और इस दौरान घर के दरवाजे या बालकनी पर खड़े होकर दिया, मोमबत्ती या फ्लैशलाइट्स जलाएं। लेकिन इस बात का ध्यान रखें कि लोगों को इकट्ठा नहीं होना है।
क्या है महत्व
अंक-विज्ञान के अनुसार 5 अंक का स्वामी बुध है। बुध गला, फेफड़ा और मुख का कारक ग्रह होता है। वर्तमान में विश्वव्यापी महामारी कोरोना मनुष्य के मुख, फेफड़े और गले को ही अपना निशाना बनाए हुए है। बुध ग्रहों का राजकुमार तथा वर्तमान सम्वत् 2077 का अधिपति भी है। अतः 5 अप्रैल इस दृष्टि से भी अनुकूल है।
रविवार सूर्य का दिन होता है। सूर्य नवग्रह का अधिपति है। समस्त ग्रह सौर ऊर्जा से ही प्रभावित हैं। सूर्य दीपक या प्रकाश का प्रतीक है, अतः 5 अप्रैल को रात्रि 9 बजे से 9 मिनट तक यमघण्ट काल को करोड़ों प्रज्वलित दीपक सूर्य को बल प्रदान करेंगे।
नौ का अंक मंगल ग्रह का प्रतीक है। मंगल सौरमंडल का सेनापति होने के कारण महामारी अन्धकार को नष्ट करने में सूर्य का अपूर्व सहयोग करेगा। रात्रि या अन्धकार शनि का प्रतीक है और शनि सूर्य से अर्थात् अन्धकार प्रकाश से दूर होता है। अतः रविवार 5 अप्रैल को जो पूर्णिमा के नज़दीक की तिथि है, उस दिन चन्द्र की मज़बूती के लिए सभी प्रकाश बन्द कर दीपदान करना चन्द्रमा को अमृत-वृष्टि के लिए बाध्य करेगा।
अंक-विज्ञान के अनुसार 5 अंक का स्वामी बुध है। बुध गला, फेफड़ा और मुख का कारक ग्रह होता है। वर्तमान में विश्वव्यापी महामारी कोरोना मनुष्य के मुख, फेफड़े और गले को ही अपना निशाना बनाए हुए है। बुध ग्रहों का राजकुमार तथा वर्तमान सम्वत् 2077 का अधिपति भी है। अतः 5 अप्रैल इस दृष्टि से भी अनुकूल है।
रविवार सूर्य का दिन होता है। सूर्य नवग्रह का अधिपति है। समस्त ग्रह सौर ऊर्जा से ही प्रभावित हैं। सूर्य दीपक या प्रकाश का प्रतीक है, अतः 5 अप्रैल को रात्रि 9 बजे से 9 मिनट तक यमघण्ट काल को करोड़ों प्रज्वलित दीपक सूर्य को बल प्रदान करेंगे।
नौ का अंक मंगल ग्रह का प्रतीक है। मंगल सौरमंडल का सेनापति होने के कारण महामारी अन्धकार को नष्ट करने में सूर्य का अपूर्व सहयोग करेगा। रात्रि या अन्धकार शनि का प्रतीक है और शनि सूर्य से अर्थात् अन्धकार प्रकाश से दूर होता है। अतः रविवार 5 अप्रैल को जो पूर्णिमा के नज़दीक की तिथि है, उस दिन चन्द्र की मज़बूती के लिए सभी प्रकाश बन्द कर दीपदान करना चन्द्रमा को अमृत-वृष्टि के लिए बाध्य करेगा।
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